पहला झूठ हमेशा एक नई कहानी है। नवीनता से भरा हुआ, यह हमें छल कर रहा होता है। फिर भी, धोकेबाजी की आग जलती रहती है। एक बार में मिटाया नहीं जा सकता। एक झूठ का जाल घना होता है। हर दिन उसमें और अधिक रस्सियां जुड़ती हैं।
धोखेबाजी की आग, वह जीवन को जलाने वाली अग्नि है। यह हमें अंधा बना देती है। हम उसमें खो जाते हैं और अपना रास्ता भूल read more जाते हैं।
एक झूठ सच से छिपा हो सकता है, लेकिन वह कभी पूरी तरह से नहीं मिटता है। यह जलता रहता है, हमें हमेशा सावधान रखता है।
मन में उमड़ती हवा
प्यार और साधारणता की यह शायरी आज भी उसको आकर्षित करती है। हर पंक्ति में विचारों का संगम छिपी होती है। भ्रामक शायरी कहलाती इस रचना में सौन्दर्य के स्वर मौन हैं। हर पंक्ति एक चित्र प्रस्तुत करती है, जो मन को मोह लेती है ।
विश्वास पर नाचा, धोखेबाज दिल का गीत
एक बार था जैसे, जब जीवन में हर चीज़ सही थी। सपने सच होने वाली थीं, और प्यार का रंग हर जगह {ढका|छिड़का|भरा|। दिल खुश था, हँसी थी हर रोज़। परंतु क्या पता था कि उस झूठे दिल के अंदर कितना डर छिपा हुआ था। उसने सारी खुशियाँ छीन लीं, और जीवन का रंग बदल दिया। अब तो केवल धोखा और दुःख ही है, एक गीत जो निरंतर बजा रहा है।
हृदय में घुस गया धोकेबाज शब्दों का सैलाब
ये धोखेबाज शब्द, आत्मा में घुस गये। जैसे कोई महासागर आ गया हो, सब कुछ नष्ट होने लगा। और उनकी बातें अशिष्टता से बोले जा रहे हैं, जैसे वो पकड़े गए हों।
समझने की कोशिश करते हुए , हमारा दिमाग ध्रुवीकृत हो गया।
इसलिए प्यार कहने से धोखा है, यह धोकेबाजी की दुनिया
प्यार घोषणा करना, यह एक झूठ है.
इस दुनिया में, जहां हर कोई अपनी शक्ति के लिए काम करता है, प्यार सिर्फ एक झूठ है. लोग प्यार की भाषा में ही छिप जाते हैं.
आँखों के पीछे, जो कहती हैं "मैं तुमसे प्यार करता हूँ", वो असल में मांग कर रहे हैं.
बिछड़ते होड़ तस्वीरें, धोकेबाज शायरी
ये तो मिलन का ही सच है, जहाँ दुनिया भी धूर्त से भरी हो गयी हैं। हर एक चित्र तो भांति दिखाता है वो जो अच्छी नहीं होती, और हर एक कविता जुगनू में घुसा जाता है वो जो धोखा भर देता है।